सरगांव। सरगांव तहसील के बड़ियाडीह गांव में मेसर्स एल एन स्टील एण्ड एलॉय प्राइवेट लिमिटेड द्वारा प्रस्तावित स्टील उद्योग की पर्यावरणीय स्वीकृति के लिए 25 अप्रैल शुक्रवार को लोक सुनवाई का आयोजन किया गया। इस सुनवाई में आठ गांवों के ग्रामीणों समेत कुछ राजनीतिक दलों के नेताओं ने भी भाग लिया और भारी संख्या में आपत्ति दर्ज कराई।
सुनवाई के दौरान कुल 88 मत प्राप्त हुए, जिनमें से 85 मत परियोजना के विरोध में और केवल 3 मत समर्थन में पड़े। लिखित रूप में 27 लोगों ने विरोध और 1 ने समर्थन व्यक्त किया।

श्री हरिहर क्षेत्र केदार द्वीप सेवा समिति मदकू के अध्यक्ष ने समिति की ओर से आपत्ति दर्ज करते हुए कहा कि प्रस्तावित स्टील प्लांट श्री हरिहर क्षेत्र केदार द्वीप मदकू, जो एक प्रसिद्ध पुरातात्विक और धार्मिक स्थल है, से मात्र एक किलोमीटर की दूरी पर स्थापित किया जा रहा है। इससे निकलने वाला धुआं, सल्फर डाइऑक्साइड, नाइट्रोजन ऑक्साइड, भारी धातुएं और उड़नशील राख आसपास के वनस्पति और जीव-जंतु तंत्र को गंभीर रूप से क्षति पहुंचाएंगे।
इसके अलावा, शिवनाथ नदी के जल के भारी दोहन, औद्योगिक अपशिष्टों से नदी के प्रदूषित होने और जलीय जीवों व पक्षियों की प्रजातियों के विलुप्त होने की आशंका भी जताई गई। समिति ने प्लांट को अन्यत्र स्थापित करने की मांग रखी।
भाजपा सरगांव मंडल के अध्यक्ष पोषण यादव ने भी प्लांट के खिलाफ आवाज उठाते हुए कहा कि इससे क्षेत्र में पर्यावरणीय असंतुलन पैदा होगा, जल संकट गहराएगा और ध्वनि व वायु प्रदूषण में वृद्धि होगी। उन्होंने चेताया कि इससे खेती, पशुपालन और आम जनजीवन पर प्रतिकूल असर पड़ेगा, विशेषकर बच्चों, महिलाओं और बुजुर्गों के स्वास्थ्य पर गंभीर खतरा उत्पन्न होगा।

सुनवाई में घनश्याम वर्मा – जिला अध्यक्ष कांग्रेस कमेटी मुंगेली, रशीद खान, नेहरू साहू और शिव घृतलहरे सहित कई अन्य स्थानीय लोगों ने भी जोरदार विरोध जताया।
ग्रामीणों के इस व्यापक विरोध के बाद अब परियोजना के भविष्य को लेकर असमंजस की स्थिति बन गई है।